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कम लागत में रोबोटिक ट्राली बनाकर नया कीर्तिमान स्थापित किया जमालपुर कारखाना,
 डॉक्टर और पेशेंट के बीच इलाज की दूरी को कम करेगा संजीवनी, – प्रिंस दिलखुश की रिपोर्ट

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 कम लागत में रोबोटिक ट्राली बनाकर नया कीर्तिमान स्थापित किया जमालपुर कारखाना,
 डॉक्टर और पेशेंट के बीच इलाज की दूरी को कम करेगा संजीवनी,

जमालपुर।
158 साल पुराना रेल इंजन कारखाना जमालपुर ने संजीवनी नामक एक रोबोटिक ट्राली का निर्माण किया है।पूर्व रेलवे अंतर्गत जमालपुर रेल इंजन कारखाना ने अपने इंजीनियर के काबिलियत के दम पर एक और बड़ा कार्य करने में सफलता हासिल की है। वर्तमान कोविड-19 महामारी में डॉक्टर तथा पेशेंट के बीच रोबोटिक ट्रॉली के माध्यम से इलाज, पेशेंट को सहायता तथा उसका हाल चाल ले सकने में सक्षम रोबोटिक ट्रॉली बनाकर एक नया कीर्तिमान स्थापित किया है।मुख्य कारखाना प्रबंधक श्री सुदर्शन बिजय द्वारा जन कल्याणकारी उपकरण बनाने संबंधी प्रेरणा लेकर तथा डिप्टी प्रोडक्शन श्री प्रेम प्रकाश के तकनीकी निर्देशन एवं कारखाना के कुशल इंजीनियर गुड्डू कुमार,चंदन कुमार,रतन चौधरी,अमरजीत वर्मा,नीरज कुमार तथा आशीष कुमार सहित अन्य 14 लोगों ने मिलकर अपने खुद के डिजाइन तथा मेहनत से एक बार फिर जमालपुर कारखाने का नाम पूरे देश में रौशन किया है।किसने की संजीवनी की डिजाइन :डीओओटी (डिलीवरी, अवलोकन और ऑर्केस्ट्रेटेड टेलकम्यूनिकेटर) के रूप में जाना जाने वाला यह रोबोट डिवाइस पूर्वी रेलवे जमालपुर कारखाना के उत्पादन विभाग द्वारा डिजाइन और विकसित किया गया है। इस मशीन को संक्रमित मरीजों और कनेक्टर के साथ हेल्थकेयर कार्यकर्ताओं के संपर्क को कम करने के लिए, पूर्वी रेलवे जमालपुर कारखाना ने कोविड -19 रोगी के लिए अत्याधुनिक एवंं कम लागत वाली स्वचालित रोबोट ट्रॉली के रूप में विकसित की है। विभागीय टीम ने दी योजना को अंजाम :इन रोबोट ट्रॉली को बनाने के लिए कारखाना के उत्पादन विभाग के तहत एक टीम बनाई गई है,जो दिन-रात काम करती है और अपने स्वयं के नवीन विचारों और डिजाइन कौशल का उपयोग करती है,इसे बनाने के लिए ज्यादातर कारखाना में निर्मित सामग्री का उपयोग किया गया है,जहां कुछ वस्तुओं का क्रय किया गया है।जिनमें कैमरा सहित अन्य इलेक्ट्रॉनिक आइटम शामिल है।
कैसे करता है काम :  रोबोट्रिक ट्रॉली को रिमोट द्वारा नियंत्रित किया जाता है।लगभग 20 मीटर की दूरी पर पूरी ट्रॉली प्रणाली दो एनओएस 12 वॉल्ट सप्लाई पर काम करती है।सिस्टम में एक ड्राइविंग व्हील होती है जो चेन स्प्रोकेट सिस्टम के माध्यम से एक मोटर द्वारा संचालित होती है।सामने का पहिया स्टीयरिंग सिस्टम से जुड़ा होता है,जो वाइपर मोटर द्वारा संचालित होता है।ट्रॉली को एल्यूमीनियम के हल्के शीट से बनाया गया है।ट्रॉली के सामने कैमरा फिट किया गया है,जो 360 डिग्री तक घूम सकता है। ट्रॉली मोबाइल के साथ जुड़ा हुआ है जिसमें मेडिकोस ट्रॉली के क्षण देख सकते हैं और रोगी के साथ संवाद कर सकते हैं।

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