Uncategorized स्पेशल रिपोर्ट

न ईश्वर! न स्वर्ग! हमारे पास बस एक जीवन है- स्टीफ़न हॉकिंग

1,576 Views

न ईश्वर! न स्वर्ग! हमारे पास बस एक जीवन है- स्टीफ़न हॉकिंग
स्मृतिशेष महान भौतिक विज्ञानी स्टीफ़न हॉकिंग दुनिया के वर्तमान और भविष्य को लेकर काफ़ी चिंतित थे। वे हमेशा न्याय के पक्ष में खड़े होते थे और खुलकर बोलने की वक़ालत करते थे। पाँच साल पहले फिलीस्तीनियों के साथ हो रहे दुर्व्यवहार का विरोध करते हुए उन्होंने जेरूसलम में आयोजित एकेडमिक सम्मेलन में भाग लेने से मना कर दिया था।
यही नहीं, पिछले दिनों जब राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने जलवायु परिवर्तन पर केंद्रित पेरिस समझौते से अमेरिका के अलग होने का फ़ैसला किया तो उन्होंने इसकी तीखी आलोचना की। उन्होंने कहा कि इस फ़ैसले से पृथ्वी का तापमान और बढ़ने लगेगा, जिससे एक दिन पृथ्वी भी शुक्र ग्रह की तरह गर्म हो जाएगी। धरती पर सल्फ्यूरिक एसिड की बारिश होने लगेगी और जीवन धीरे धीरे ख़त्म होने लगेगा। बेहतर है कि इंसान अपने रहने के लिए कोई अन्य ग्रह खोजे।
स्टीफ़न ने ईश्वर के अस्तित्व को कोई कल्पना सिद्ध किया। कुछ सदियों के बाद लोगों को यह बात हैरान करेगी कि स्टीफ़न हॉकिंग ने सूचनाक्रांति के दौर में, वैज्ञानिक आधार पर प्रमाणित कर दिया था कि ईश्वर नहीं है, फिर भी मीडिया अंधविश्वास बाँट रहा था और राजनेता ईश्वर और धर्म के नाम पर उन्माद फैलाकर सत्ता हथिया रहे थे। स्टीफ़न हॉकिंग और उनके महत्व को को समझने के लिए नीचे पढ़िए उनके विचार–

.दिव्य रचना से पहले भगवान क्या कर रहा था ?

.धर्मशास्त्र अनावश्यक है।

.बुद्धिमत्ता बदलाव को अपनाने की काबिलियत है।

.ब्रह्माण्ड से बड़ा या पुराना कुछ भी नहीं हैं।

.भगवान सिर्फ पासा नहीं खेलते बल्कि कभी-कभी उसे ऐसी जगह फेंकते हैं कि वे दिखाई भी नहीं देते हैं
. अतीत, भविष्य की तरह ही अनिश्चित है और यह केवल संभावनाओं के एक स्पेक्ट्रम के रूप में मौजूद हैं।

. अन्य विकलांग लोगों के लिए मेरी सलाह हैं, कि उन चीजों पर ध्यान दें जिन्हे अच्छी तरह से करने से आपकी विकलांगता नहीं रोकती और उन चीजों के लिए अफ़सोस नहीं करें जिन्हे करने में ये बाधा डालती है आत्मा और शरीर दोनों से विकलांग मत बनें।

. आक्रमकता इंसानो की सबसे बुरी आदत है जो उनकी सभ्यता का विनाश करती है।

.आपका कार्य ही आपको जीवन जीने का अर्थ और उद्देश्य देता है और इसके बिना आपका जीवन बिलकुल अधूरा हैं।

. ऊपर सितारों की तरफ देखो अपने पैरों के नीचे नहीं। जो देखते हो उसका मतलब जानने की कोशिश करो और आश्चर्य करो, कि क्या है जो ब्रह्माण्ड का अस्तित्व को बनाये हुए है उत्सुक रहो।

. एक शून्य-गुरुत्वाकर्षण उड़ान अंतरिक्ष यात्रा की ओर पहला कदम है।

. एक समय, ‘समय-यात्रा’ को वैज्ञानिक विधर्म माना जाता था और मैं इसके बारे में बात करने से बचता था कि कहीं मुझ पर भी लोगो द्वारा ‘सनकी’ का लेबल ना लगा दिया जाये।

.कंप्यूटर हर महीने अपना प्रदर्शन पहले से बेहतर करते जाते हैं।

. कंप्यूटरों द्वारा बुद्धि विकसित कर हम पर काबू करना एक वास्तविक खतरे के समान है।

. कई लोगों को ब्रह्माण्ड कन्फ़्यूजिंग लगता है, ऐसा नहीं है।

. कभी कभी मुझे आश्चर्य होता है कि क्या मैं अपनी व्हीलचेयर और विकलांगता के लिए उतना ही प्रसिद्ध हूँ जितना अपनी खोजों के लिए।

. कुछ लोगो का ऐसा मानना है की प्यार, ख़ुशी और सुंदरता जैसी बाते किसी अलग समुदाय के लोगो के लिये बने है जो विज्ञान से अलग हों, लेकिन मुझे ऐसा कभी नही लगता।

.कोई कुछ दिन आगे तक से अधिक मौसम का अनुमान नहीं लगा सकता।

.कोई भी व्यक्ति जब किसी चीज़ की उम्मीद पूरी तरह खो देता है, तब उसे सचमुच उस चीज़ की महत्वता समझ आती है जो उसके पास है।

.क्योंकि गुरुत्वाकर्षण जैसा एक नियम है, ब्रह्माण्ड स्वयं को कुछ नहीं से सृजित कर सकता है और करेगा।

.जिस डॉक्टर ने मुझमे मोटर न्यूरॉन बीमारी डायग्नोज की थी, उसने कहा था की ये मुझे दो या तीन साल में मार डालेगी।

.जो लोग अपने IQ के बारे में दावा करते हैं वे असफल व्यक्ति होते हैं।

.भले ही आपके जीवन में कितनी भी परेशानियाँ आए या आपको अपना जीवन ही कठिन लगे, अगर आप सफलता पाना चाहते है तो हमेशा कुछ न कुछ करते रहे जिससे आप जरुर सफल होंगे।

.मुझे नही लगता कि मानव जाति अगले हज़ार साल बची रहे पायेगी, जब तक कि हम अन्तरिक्ष को विस्तार से नहीं समझ लेते।

.मुझे लगता है ब्रह्माण्ड में और ग्रहों पर जीवन आम है, हालांकि बुद्धिमान जीवन कम ही है, कुछ का कहना है इसका अभी पृथ्वी पर आना बाकी है।

.मेरा लक्ष्य पूरी तरह स्पष्ट है मुझे ब्रह्माण्ड को पूरी तरह समझना है, साथ ही ये भी जानना है कि ये जैसा है, वैसा क्यों है और आखिर इसके अस्तित्व का कारण क्या है।

.मेरा विश्वास ये कहता है कि चीजें स्वयं को असंभव नही बना सकती।

.मेरी पहली लोकप्रिय किताब, ’अ ब्रीफ हिस्ट्री ऑफ़ टाइम’, ने काफी रूचि पैदा की, लेकिन कई लोगों को इसे समझने में कठिनाई हुई।

.मेरे सेलिब्रिटी होने का सबसे बड़ा नुकसान यह है की मैं किसी को बताये बिना दुनिया में कही भी नही जा सकता काले चश्मे पहनकर बाहर निकलना मेरे लिये पर्याप्त नही मुझे व्हील चेयर पर बैठकर दुनिया की सैर नही करनी।

.मैं अपनी आत्मकथा नहीं लिखना चाहता क्योंकि मैं एक सार्वजानिक संपत्ति बन जाऊंगा और मेरी कोई प्राइवेसी नहीं रहेगी।

.मैं एक अच्छा छात्र नहीं था मैं कॉलेज में ज्यादा समय नहीं बीतता था, मैं मजे करने में बहुत ज्यादा व्यस्त रहता था।

.मैं चाहूँगा न्यूक्लीयर फ्यूज़न एक व्यवहारिक ऊर्जा का स्रोत बने। यह प्रदूषण या ग्लोबल वार्मिंग के बिना, ऊर्जा की अटूट आपूर्ति प्रदान करेगा।

.मैं मानता हूँ कि जिन्हे लाइलाज बीमारी है और वे अत्यधिक पीड़ा में हैं उनके पास अपना जीवन समाप्त करने का अधिकार होना चाहिए, और जो उनकी इस काम में मदद करें उन्हें अभियोग से मुक्त रखना चाहिए।

.मैं मानता हूँ कि ब्रह्माण्ड विज्ञान के नियमों द्वारा संचालित होता है हो सकता है ये नियम भगवान द्वारा बनाये गए हों, लेकिन भगवान इन नियमों को तोड़ने के लिए हस्तक्षेप नहीं करता।

.मैं मौत से नहीं डरता, लेकिन मुझे मरने की कोई जल्दी नहीं है मेरे पास पहले करने के लिए इतना कुछ है।

.मैं सिर्फ एक बच्चा हूँ, जो कभी बड़ा नही हुआ, मैं आज भी ‘क्यों’ और ‘कैसे’ जैस प्रश्न पूछता हु और परिणामतः मुझे इसके जवाब मिल भी मिलते है।

मैंने देखा है वो लोग भी जो ये कहते हैं कि सब कुछ पहले से तय है, और हम उसे बदलने के लिए कुछ भी नहीं कर सकते, वे भी सड़क पार करने से पहले देखते हैं।

यदि आप कही फसे हुए हो तो वहा उग्र होना अच्छी बात है हम सिर्फ समस्याओ के बारे में सोचते रहते है लेकिन कभी उसे हल करने की कोशिश नही करते।

यदि आप ब्रह्माण्ड को समझते है तो दुसरे अर्थ में आप इसे नियंत्रित कर रहे हैं।

: यदि आप हमेशा गुस्सा या शिकायत करते हैं, तो लोगों के पास आपके लिए वक़्त नहीं रहेगा।

.यदि मैं मेरी विकलांगता के लिये गुस्सा करु तो ये मेरे लिए समय को व्यर्थ गवाने जैसा होगा। यदि आप हमेशा शिकायत करते रहोगे और क्रोधित रहोगे तो लोगो के पास आपके लिये समय नही होगा।

.लोगों के पास आपके लिए समय नहीं होगा यदि आप हमेशा गुस्सा करेंगे या शिकायत करते रहेंगे।

.वास्तविकता की कोई अनूठी तस्वीर नहीं होती है।

.विज्ञान केवल तर्क का ही अनुयायी नहीं है, बल्कि रोमांस और जूनून का भी।

.विज्ञान लोगों को गरीबी और बीमारी से निकाल सकता है और सामाजिक अशांति ख़त्म कर सकता है।

.हम अपने लालच और मूर्खता के कारण खुद को नष्ट करने के खतरे में हैं। हम इस छोटे, तेजी से प्रदूषित हो रहे और भीड़ से भरे ग्रह पर अपनी और अंदर की तरफ देखते नहीं रह सकते।

.हम एक औसत तारे के छोटे से ग्रह पर रहने वाली बंदरों की एक अन्नत नस्ल हैं, लेकिन हम ब्रह्माण्ड को समझ सकते हैं, ये हमें कुछ ख़ास बनाता है।

.हम यहां क्यों हैं? हम कहां से आते हैं? परंपरागत रूप से, ये फिलोसोफी के सवाल हैं, लेकिन फिलोसोफी मर चुकी है।

.हम सभी अलग है, लेकिन हम सभी में मानवता समाई है, पहले अपनाना और फिर उससे गुजारा करना ही इंसानो की आदत होती है।

.हम सोचते हैं हमने सृष्टि के सृजन की गुत्थी सुलझ ली है शायद हमें ब्रह्माण्ड का पेटेंट करा लेना चाहिए और सभी से उनके अस्तित्व के लिए रॉयल्टी चार्ज करनी चाहिए।

.हमारी बुद्धिमत्ता की सबसे बड़ी उपलब्धि हमें बोलने से मिलती है और हमारे बुद्धिमत्ता की सबसे बड़ी असफलता न बोलने में है. कभी भी अपनी मानसिकता को असफलता की ओर मत ले जाइये क्योकि हमारी सबसे बड़ी आशा ही हमारा भविष्य बनती है इसीलिये हम सभी ने हमेशा बोलते रहना चाहिए।

.हमें सबसे अधिक महत्त्व का काम करने का प्रयास करना चाहिए।

.हालांकि 11 सितंबर का आतंकवादी हमला भयानक था, फिर भी परमाणु हथियार से ज्यादा नहीं क्योंकि यह मानव जाति के अस्तित्व के लिए खतरा नहींं था।.

साभार:- मीडिया विजिल

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *